गेहूं की सरकारी खरीद 17 मार्च से शुरू होगी: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की अध्यक्षता में कैबिनेट ने मंजूरी दी
उत्तर प्रदेश में रबी विपणन वर्ष 2025-26 के लिए गेहूं की सरकारी खरीद 17 मार्च से शुरू होगी। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की अध्यक्षता में सोमवार को हुई कैबिनेट बैठक में गेहूं क्रय नीति को मंजूरी दी गई। इस नीति के तहत, किसानों से गेहूं की खरीद 2425 रुपये प्रति क्विंटल के न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) पर की जाएगी। 15 जून तक चलने वाली इस खरीद प्रक्रिया के लिए राज्य भर में 6500 क्रय केंद्र खोले जाएंगे।

6500 क्रय केंद्रों पर होगी गेहूं की खरीद
सरकार ने यह फैसला लिया है कि इस बार गेहूं की खरीद केवल इलेक्ट्रॉनिक प्वॉइंट ऑफ परचेज़ (ई-पाप) मशीन के माध्यम से किसानों के बायोमेट्रिक प्रमाणीकरण द्वारा की जाएगी। इसके अतिरिक्त, किसी भी अन्य तरीके से की गई खरीद को मान्यता नहीं दी जाएगी। साथ ही, मोबाइल क्रय केंद्रों पर होने वाली खरीद का अक्षांश-देशांतर भी कैप्चर किया जाएगा।
बटाईदार किसान भी कर सकेंगे गेहूं की बिक्री
इस बार बटाईदार किसान भी पंजीकरण कराकर गेहूं बेच सकेंगे। इसके लिए बटाईदार किसान और मूल किसान के बीच लिखित सहमति की आवश्यकता होगी। इस सहमति के आधार पर पंजीकरण किया जाएगा, और उसके बाद किसान को ओटीपी के माध्यम से प्रमाणिक किया जाएगा।
पंजीकृत ट्रस्ट से भी खरीद होगी
इस बार पंजीकृत ट्रस्ट से भी गेहूं खरीदी जाएगी। ट्रस्ट के संचालन के लिए उनके अधिकृत प्रतिनिधि का बायोमेट्रिक सत्यापन किया जाएगा, और खरीद प्रक्रिया उसी आधार पर की जाएगी। इसके बाद, ट्रस्ट के बैंक खाते में भुगतान किया जाएगा।
एमएसपी में 150 रुपये की बढ़ोतरी
पिछले वर्ष 2024 में गेहूं की खरीद 2275 रुपये प्रति क्विंटल की दर से की गई थी, जबकि इस वर्ष भारत सरकार ने एमएसपी में 150 रुपये की वृद्धि की है। अब यह 2425 रुपये प्रति क्विंटल पर गेहूं की खरीद की जाएगी।
आठ एजेंसियों को खरीद की जिम्मेदारी
उप्र सहकारी संघ द्वारा 3300 केंद्र खोले जाएंगे
उप्र कोआपरेटिव यूनियन के 700 केंद्र
भारतीय खाद्य निगम के 400 केंद्र
उत्तर प्रदेश उपभोक्ता सहकारी संघ के 350 केंद्र
नेशनल एग्रीकल्चरल कोआपरेटिव मार्केटिंग फेडरेशन ऑफ India के 300 केंद्र
इस प्रकार, इन सभी केंद्रों पर गेहूं की खरीद प्रक्रिया की जाएगी।
पंजीकरण की प्रक्रिया
किसान अपने पंजीकरण के लिए किसी भी जनसुविधा केंद्र या साइबर कैफे के माध्यम से खाद्य एवं रसद विभाग के आधिकारिक पोर्टल (fcs.up.gov.in) पर जा सकते हैं। इसके अलावा, यूपी किसान मित्र एप के माध्यम से भी पंजीकरण कराया जा सकता है।
उत्तर प्रदेश में इस साल गेहूं की खरीद प्रक्रिया को सुचारू और पारदर्शी बनाने के लिए नई नीति के तहत कई महत्वपूर्ण कदम उठाए गए हैं। इसमें बटाईदार किसानों को भी शामिल किया गया है, और किसानों की सुविधा के लिए पंजीकरण की प्रक्रिया को ऑनलाइन किया गया है। इस कदम से उम्मीद की जा रही है कि गेहूं की खरीद प्रक्रिया में कोई रुकावट नहीं आएगी और राज्य के किसानों को उचित मूल्य मिल सकेगा।
What's Your Reaction?






